सोमवार, 15 नवंबर 2021

नगरपालिका में दो लाख के गबन की वसूली के आदेश


मुज़फ्फरनगर। नगर पालिका की चेयरमैन अंजू अग्रवाल को पटखनी देने में लगे भाजपा सभासदों को मैडम के धोबी पाट के चलते मुंह की खानी पड़ी। भ्रष्टाचार के आरोपों में शासन की ओर से अंजू अग्रवाल को राहत मिल गई है। हालांकि उन पर लगभग  2 लाख रुपए का गबन साबित हुआ। इसी के साथ चेतावनी जारी करते हुए प्रकरण को समाप्त कर दिया गया है। इस संबंध में कार्यालय आदेश देर शाम जारी हो गया है।

मामले को लेकर अपर मुख्य सचिव  डॉ. रजनीश दुबे की ओर से जारी किए गए कार्यालय आदेश की प्रति चेयरमैन अंजू अग्रवाल को तामील कराई गई। पालिका में भ्रष्टाचार को लेकर वर्ष 2019 में जनविकास सोसायटी के अध्यक्ष मोहम्मद खालिद व सभासद राजीव शर्मा ने प्रशासन को शिकायत की थी कि नगरपालिका में भ्रष्टाचार हो रहा है। नगर पालिका अधिनियम 1916 के विपरीत नगर स्वास्थ्य अधिकारी रविंद्र राठी को अधिकार दिए गए। ऑटो रिक्शा टेंपो शुल्क की वसूली के ठेके में भी लापरवाही का आरोप लगा। इसके अलावा शिकमी किराएदार के प्रकरण में भी लापरवाही की वजह से सरकारी खजाने को चूना लगाने का आरोप था। इसको लेकर तत्कालीन जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे ने अपनी जांच रिपोर्ट शासन को भेजी थी। जिसमें आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की गई थी। इस संबंध में अपर मुख्य सचिव डॉ.रजनीश दुबे की ओर से कार्यालय आदेश जारी हुआ।

जिसमें शासन द्वारा लिए गए निर्णय की जानकारी देते हुए कहा गया कि इन प्रकरणों में आरोपियों के विरुद्ध पाए गए सभी आरोपों के दृष्टिगत नगरपालिका अधिनियम की धारा 48 के अंतर्गत उनसे 1 लाख 95 हज़ार की वसूली कराई जाएगी। उन्हें भविष्य में सचेत रहने की चेतावनी देते हुए प्रकरण को समाप्त कर दिया गया है। इसी के साथ अंजू अग्रवाल को राहत मिली है। बता दें कि प्रकरण शुरू होते ही अंजू अग्रवाल ने कांग्रेस छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया था। भाजपा में आने के बाद अंजू अग्रवाल को अभयदान माल गया।

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