शुक्रवार, 15 अगस्त 2025

स्वतंत्रता दिवस विशेष : पंचाग एवँ राशिफल

 पंचांग तथा राशिफल

दिनांक - 15 अगस्त 2025


दिन - शुक्रवार

विक्रम संवत् - 2082

अयन - दक्षिणायण

ऋतु - वर्षा

मास - भाद्रपद


पक्ष - कृष्ण

तिथि - सप्तमी रात्रि 11:49 तक तत्पश्चात् अष्टमी

नक्षत्र - अश्विनी सुबह 07:36 तक तत्पश्चात् भरणी

योग - गण्ड सुबह 10:17 तत्पश्चात् वृद्धि

राहुकाल - सुबह 11:07 से दोपहर 12:44 तक

सूर्योदय - 05:40       

सूर्यास्त - 06:47  

दिशा शूल – पश्चिम दिशा में

ब्रह्ममुहूर्त - प्रातः 04:11 से प्रातः 04:54 तक

अभिजीत मुहूर्त – दोपहर 11:48 से 12:42 तक 

निशिता मुहूर्त - रात्रि 11:53 से रात्रि 12:36 तक 

सूर्य राशि- कर्क 

चंद्रमा राशि- मेष          

बृहस्पति राशि – मिथुन 

व्रत पर्व विवरण – स्वतंत्रता दिवस, शीतला सातम


जन्माष्टमी व्रत-उपवास की महिमा

भगवान श्रीकृष्ण युधिष्ठिरजी को कहते हैं : “२० करोड़ एकादशी व्रतों के समान अकेला श्रीकृष्ण जन्माष्टमी व्रत हैं |”

धर्मराज सावित्री से कहते हैं : “जो प्राणी श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का व्रत करता है वह १०० जन्मों के पापों से मुक्त हो जाता है |”


चार रात्रियाँ विशेष पुण्य प्रदान करनेवाली हैं

 १ )दिवाली की रात २) महाशिवरात्रि की रात ३) होली की रात और ४) कृष्ण जन्माष्टमी की रात इन विशेष रात्रियों का जप, तप , जागरण बहुत बहुत पुण्य प्रदायक है |

 श्रीकृष्ण जन्माष्टमी की रात्रि को मोहरात्रि कहा जाता है। इस रात में योगेश्वर श्रीकृष्ण का ध्यान,नाम अथवा मन्त्र जपते हुए जागने से संसार की मोह-माया से मुक्ति मिलती है। जन्माष्टमी का व्रत व्रतराज है। इस व्रत का पालन करना चाहिए।

(शिवपुराण, कोटिरूद्र संहिता अ. 37)


जन्माष्टमी का व्रत रखना चाहिए, बड़ा लाभ होता है ।इससे सात जन्मों के पाप-ताप मिटते हैं ।

जन्माष्टमी एक तो उत्सव है, दूसरा महान पर्व है, तीसरा महान व्रत-उपवास और पावन दिन भी है।

‘वायु पुराण’ में और कई ग्रंथों में जन्माष्टमी के दिन की महिमा लिखी है। ‘जो जन्माष्टमी की रात्रि को उत्सव के पहले अन्न खाता है, भोजन कर लेता है वह नराधम है’ - ऐसा भी लिखा है, और जो उपवास करता है, जप-ध्यान करके उत्सव मना के फिर खाता है, वह अपने कुल की 21 पीढ़ियाँ तार लेता है और वह मनुष्य परमात्मा को साकार रूप में अथवा निराकार तत्त्व में पाने में सक्षमता की तरफ बहुत आगे बढ़ जाता है । इसका मतलब यह नहीं कि व्रत की महिमा सुनकर मधुमेह वाले या कमजोर लोग भी पूरा व्रत रखें ।

बालक, अति कमजोर तथा बूढ़े लोग अनुकूलता के अनुसार थोड़ा फल आदि खायें ।

जन्माष्टमी के दिन किया हुआ जप अनंत गुना फल देता है ।

उसमें भी जन्माष्टमी की पूरी रात जागरण करके जप-ध्यान का विशेष महत्त्व है। जिसको क्लीं कृष्णाय नमः मंत्र का और अपने गुरु मंत्र का थोड़ा जप करने को भी मिल जाय, उसके त्रिताप नष्ट होने में देर नहीं लगती ।

‘भविष्य पुराण’ के अनुसार जन्माष्टमी का व्रत संसार में सुख-शांति और प्राणीवर्ग को रोगरहित जीवन देनेवाला, अकाल मृत्यु को टालनेवाला, गर्भपात के कष्टों से बचानेवाला तथा दुर्भाग्य और कलह को दूर भगानेवाला होता है।

कृष्ण नाम के उच्चारण का फल


ब्रह्मवैवर्तपुराण के अनुसार

नाम्नां सहस्रं दिव्यानां त्रिरावृत्त्या चयत्फलम् ।।

एकावृत्त्या तु कृष्णस्य तत्फलं लभते नरः । कृष्णनाम्नः परं नाम न भूतं न भविष्यति ।।

सर्वेभ्यश्च परं नाम कृष्णेति वैदिका विदुः । कृष्ण कृष्णोति हे गोपि यस्तं स्मरति नित्यशः ।।

जलं भित्त्वा यथा पद्मं नरकादुद्धरेच्च सः । कृष्णेति मङ्गलं नाम यस्य वाचि प्रवर्तते ।।

भस्मीभवन्ति सद्यस्तु महापातककोटयः । अश्वमेधसहस्रेभ्यः फलं कृष्णजपस्य च ।।

वरं तेभ्यः पुनर्जन्म नातो भक्तपुनर्भवः । सर्वेषामपि यज्ञानां लक्षाणि च व्रतानि च ।।

तीर्थस्नानानि सर्वाणि तपांस्यनशनानि च । वेदपाठसहस्राणि प्रादक्षिण्यं भुवः शतम् ।।

कृष्णनामजपस्यास्य कलां नार्हन्ति षोडशीम् । (ब्रह्मवैवर्तपुराणम्, अध्यायः-१११) 

विष्णुजी के सहस्र दिव्य नामों की तीन आवृत्ति करने से जो फल प्राप्त होता है; वह फल ‘कृष्ण’ नाम की एक आवृत्ति से ही मनुष्य को सुलभ हो जाता है। वैदिकों का कथन है कि ‘कृष्ण’ नाम से बढ़कर दूसरा नाम न हुआ है, न होगा। ‘कृष्ण’ नाम सभी नामों से परे है। हे गोपी! जो मनुष्य ‘कृष्ण-कृष्ण’ यों कहते हुए नित्य उनका स्मरण करता है; उसका उसी प्रकार नरक से उद्धार हो जाता है, जैसे कमल जल का भेदन करके ऊपर निकल आता है। ‘कृष्ण’ ऐसा मंगल नाम जिसकी वाणी में वर्तमान रहता है, उसके करोड़ों महापातक तुरंत ही भस्म हो जाते हैं। ‘कृष्ण’ नाम-जप का फल सहस्रों अश्वमेघ-यज्ञों के फल से भी श्रेष्ठ है; क्योंकि उनसे पुनर्जन्म की प्राप्ति होती है; परंतु नाम-जप से भक्त आवागमन से मुक्त हो जाता है। समस्त यज्ञ, लाखों व्रत तीर्थस्नान, सभी प्रकार के तप, उपवास, सहस्रों वेदपाठ, सैकड़ों बार पृथ्वी की प्रदक्षिणा- ये सभी इस ‘कृष्णनाम’- जप की सोलहवीं कला की समानता नहीं कर सकते

ब्रह्माण्डपुराण, मध्यम भाग, अध्याय 36 में कहा गया है :

महस्रनाम्नां पुण्यानां त्रिरावृत्त्या तु यत्फलम् ।

एकावृत्त्या तु कृष्णस्य नामैकं तत्प्रयच्छति ॥१९॥

विष्णु के हजार पवित्र नाम (विष्णुसहस्त्रनाम) जप के द्वारा प्राप्त परिणाम ( पुण्य ), केवलएक बार कृष्ण के पवित्र नाम जप के द्वारा प्राप्त किया जा सकता है।


 

दैनिक राशिफल 

मेष राशि :- आज नए कार्यों की शुरुआत करने से लाभ हो सकता है।अपनी जिंदगी में दोस्तों के साथ अपनी निजी या कामकाज से जुड़ी परेशानियों का हल निकाल सकते हैं।अपने दोस्तों से बात करते हैं तो वे नए तरीके से सोचने में मदद करते हैं और सही रास्ता भी दिखा सकते हैं।


वृषभ राशि :- आज का दिन लाभकारी साबित हो सकता है।आज आपकी आय अच्छी बनी रहेगी।आपको सलाह है कि आज अपने घर के बड़े बुजुर्गों के स्वास्थ्य पर ध्यान दें।आज आपकी आध्यात्मिक उन्नति होगी।


मिथुन राशि :- नई सूचनाएं और संदेश मिल सकते हैं।आज आपकी इच्छाएं पूरी होने के रास्ते खुलेंगे।आज आपको काफी ज्यादा यात्राएं भी करनी पड़ सकती है।जिस वजह से आपका स्वास्थ्य कुछ गड़बड़ हो सकता है।


कर्क राशि :- आज घर पर थोड़ा संभलकर रहना चाहिए क्योंकि किसी लापरवाही के कारण परिवार में झगड़े हो सकते हैं।आज पैसों से जुड़े कामों में आप काफी व्यस्त रहेंगे।


सिंह राशि :- आज खुद को दूसरों के सामने अच्छे से प्रकट नहीं कर पाएंगे।भूमि और भवन के विवाद के कारण आप आपको मानसिक रुप से अशांति होगी।


कन्या राशि :- आज किसी सामान्य सी बात पर कानूनी विवाद उत्पन्न हो सकता है।आज आप अपने डॉक्यूमेंट से जुड़े काम और रोजमर्रा के कार्यों को बेहतर ढंग से निपटाएंगे।यात्राओं के योग भी आज आपके लिए बन रहे हैं।


तुला राशि :- आज काफी ऊंचे ख्यालों में खोए रहेंगे।साथ ही आज कुछ कल्पनायें आपके मन को व्यथित कर सकती है।नई परियोजनाओं की शुरुआत करें और दूसरों का सहयोग लेने में हिचक न दिखाएं।


वृश्चिक राशि :- आज कामकाज में कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।आज आपका वैवाहिक जीवन सुखमय रहने वाला है।जो लोग नया कारोबार शुरू करना चाहते हैं उन्हें इस दिशा में सफलता मिलेगी।


धनु राशि :- आज नए कार्यों की योजना बनानी चाहिए।आपको नए कार्यों में सफलता मिल सकती है।आज ग्रहों की स्थिति आपके पक्ष में बनी हुई है।लोगो का साथ मिलने से आपको सफलता मिलने की संभावना है।


मकर राशि :- आज कार्यक्षेत्र में ऊंचे पदों पर बैठे लोगों का पूरा सहयोग मिलेगा।आज आप अपनी सामाजिक मान-प्रतिष्ठा बढ़ाने के लिए प्रयास करेंगे।आज आपको मानसिक शांति मिल सकती है।


कुंभ राशि :- आज वित्तीय कार्य निपटाना और नए निवेश से लाभ के योग बन रहे हैं।आजीविका के क्षेत्र में परिवर्तन भी देखने को मिलेगा।सरकारी कार्यों में आज लाभ होगा।


मीन राशि :- आज बहुत से रुके हुए काम पूरे हो सकते हैं इसलिए अपने समय का अच्छे से सदुपयोग करें।आज आप किसी बात को लेकर थोड़ा विचलित भी हो सकते हैं।


आपका दिन मंगलमय हो

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