लखनऊ। उत्तर प्रदेश में आगामी वित्त वर्ष के लिए नई आबकारी नीति की घोषणा कर दी गयी है। इसके चलते सभी शराब महंगी होंगी। अप्रैल से शुरू होने वाले वित्तीय वर्ष में नई नीति लागू होगी, इसमें देशी शराब 5 रुपए, अंग्रेजी शराब 10 रुपए और बीयर में 5 से 7 रुपए तक की वृद्धि की गयी है। फुटकर शराब व बीयर विक्रेताओं की लाइसेंस फीस 10 प्रतिशत बढ़ जायेगी और मॉडल षॉप का वार्शिक शुल्क दो लाख से बढ़ाकर तीन लाख रुपए कर दिया गया है। अनुमान है कि पहली अप्रैल से 25 प्रतिशत तीव्रता वाली देशी षराब का 200 मिली का पव्वा 50 से बढ़कर 55 रुपए, 36 प्रतिषत तीव्रता वाली 200 मिलि का पव्वा 65 से बढ़कर 70 रुपए तथा सड़े अनाज से बनायी जाने वाली 42.8 वाली तीव्रता वाली शराब का 200 मिली का पव्वा 75 की बजाय 80 रुपए का हो जायेगा। अंग्रेजी शराब के प्रमुख ब्रांड पर प्रति क्वार्टर 10 रुपए तथा बीयर पर 5 से 7 रुपए प्रति कैन वृद्धि सम्भव है। अगले वित्त वर्श में शराब व बीयर की फुटकर दुकानें चलाने वालों को 10 प्रतिशत शराब अधिक बेचनी होगी। आबकारी नीति वर्ष 2023-24 प्रख्यापित किये जाने का प्रस्ताव स्वीकृत दी गई है। मंत्रिपरिषद ने आबकारी नीति वर्ष 2023-24 प्रख्यापित किये जाने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। राजस्व के अर्जन एवं मदिरा व्यवसाय को स्थायित्व प्रदान करने आदि विभिन्न उद्देश्यों के दृष्टिगत आबकारी नीति वर्ष 2023-24 प्रख्यापित की जा रही है। ‘उ0प्र0 मत्स्य पालक कल्याण कोष’ के क्रियान्वयन हेतु उ0प्र0 मत्स्य (विकास एवं नियंत्रण) (तृतीय संशोधन) नियमावली-2022 के प्रख्यापन के सम्बन्ध में दी गई। मंत्रिपरिषद ने ‘उत्तर प्रदेश मत्स्य पालक कल्याण कोष’ के क्रियान्वयन हेतु उत्तर प्रदेश मत्स्य (विकास एवं नियंत्रण) (तृतीय संशोधन) नियमावली-2022 के प्रख्यापन के प्रस्ताव को अनुमोदित कर दिया है।
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